तियानजिन । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को चीन के तियानजिन में आयोजित 25वें शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शिखर सम्मेलन के पूर्ण सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि भारत की एससीओ नीति तीन स्तंभों सुरक्षा, संपर्क और अवसर पर आधारित है । आतंकवाद मानवता की साझा चुनौती है और इस पर दोहरे मानदंड अस्वीकार्य हैं। मजबूत संपर्क से विश्वास और विकास बढ़ता है किंतु इसमें संप्रभुता का सम्मान होना चाहिए। एससीओ बहुपक्षवाद और समावेशी विश्व व्यवस्था का मार्गदर्शक बन सकता है। प्रधानमंत्री ने वैश्विक संस्थानों में सुधार की आवश्यकता पर भी बल दिया।
उन्होंने कहा कि भारत चार दशकों से आतंकवाद का दंश झेल रहा है। कितनी ही माताओं ने अपने बच्चे खोए हैं और कितने बच्चे अनाथ हुए हैं। उन्होंने हाल ही में पहलगाम में हुए आतंकी हमले का उल्लेख करते हुए कहा कि यह घटना केवल भारत की आत्मा पर आघात नहीं थी बल्कि मानवता में विश्वास रखने वाले हर देश और हर व्यक्ति को चुनौती थी। क्या कुछ देशों द्वारा आतंकवाद का खुलेआम समर्थन स्वीकार्य हो सकता है ? आतंकवाद पर किसी भी प्रकार के दोहरे मानदंड स्वीकार्य नहीं होंगे। प्रधानमंत्री ने वैश्विक संस्थानों में सुधार की आवश्यकता पर भी बल दिया।
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उन्होंने कहा कि एससीओ सदस्य इस दिशा में आपसी सहयोग बढ़ा सकते हैं। संयुक्त राष्ट्र की 80वीं वर्षगांठ पर सभी सदस्य देश मिलकर सुधार का आह्वान कर सकते हैं। वैश्विक दक्षिण की आकांक्षाओं को पुराने ढांचों में कैद रखना आने वाली पीढ़ियों के साथ अन्याय होगा। भारत का मत है कि मजबूत संपर्क से केवल व्यापार ही नहीं बल्कि विश्वास और विकास के द्वार भी खुलते हैं। इसी सोच के साथ भारत चाबहार बंदरगाह और अंतरराष्ट्रीय उत्तर – दक्षिण परिवहन गलियारे जैसे उपक्रमों पर काम कर रहा है, जिससे अफगानिस्तान और मध्य एशिया के साथ संपर्क बढ़ सके।
ट्रंप को दिया सख्त संदेश
एससीओ शिखर सम्मेलन की सबसे यादगार तस्वीर तब सामन आई जब पीएम मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन अपनी द्विपक्षीय बैठक के लिए एक ही कार में साथ-साथ यात्रा कर रहे थे। इससे पहले, मोदी चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मिले थे। इसे ट्रंप को सख्त संदेश माना जा रहा है।
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सभी देशों ने की पहलगाम आतंकी हमले की निंदा
पीएम मोदी ने एससीओ शिखर सम्मेलन में आतंकवाद के खिलाफ पाकिस्तान को जमकर लताड़ लगाई। उन्होंने सभी देशों से
आतंकवाद के खिलाफ एकजुट लड़ाई का अह्वान किया। एससीओ के सदस्य देशों ने पहलगाम आतंकी हमले की निंदा की।
बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव पर चीन को चेतावनी
मोदी ने चीन के बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव का नाम लिए बिना कहा कि संप्रभुता को दरकिनार करने वाली कनेक्टिविटी विश्वास खो देती है। यह चीन के लिए सीधा संदेश था कि भारत चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे जैसी परियोजनाओं को स्वीकार नहीं करता है।
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संकट के समय भारत-रूस कंधे से कंधा मिलाकर चले
चीन के तियानजिन में शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने मुलाकात की। इस दौरान प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत और रूस कठिन से कठिन परिस्थितियों में हमेशा कंधे से कंधे मिलाकर चले हैं। दोनों नेताओं ने यूक्रेन संघर्ष और वैश्विक परिस्थितियों पर चर्चा की तथा ऊर्जा, वित्त और आर्थिक क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग को और मजबूत करने पर सहमति जताई।
प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर भारत-रूस संबंधों की गहराई और व्यापकता का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि कठिन परिस्थितियों में भी दोनों देश हमेशा एक-दूसरे के साथ खड़े रहे हैं। यह करीबी सहयोग न केवल दोनों देशों के लिए, बल्कि वैश्विक शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए भी महत्वपूर्ण है। दोनों नेताओं ने विशेष एवं विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने की पुष्टि की।
